समास - samaas
समस्तपद - साधुदक्षिणा
समास-विग्रह - साधु के लिए दक्षिणा
कौन सा समास है :- संप्रदान तत्पुरुष समास
तत्पुरुष समास- तत्पुरुष समास का उत्तरपद अथवा अंतिम पद प्रधान होता है। ऐसे समास में परायः प्रथम पद विशेषण तथा द्वितीय पद विशेष्य होते हैं। द्वितीय पद के विशेष्य होने के कारण समास में इसकी प्रधानता होती है।
तत्पुरुष समास के छः भेद हैं –
- कर्म तत्पुरुष
- करण तत्पुरुष
- संप्रदान तत्पुरुष
- अपादान तत्पुरुष
- संबंध तत्पुरुष
- अधिकरण तत्पुरुष
संप्रदान तत्पुरुष समास - जिस समास के अंतर्गत कारक चिन्ह के रूप में “के लिए” का लोप होता है, वह सम्प्रदान तत्पुरुष समास कहलाता है
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