As per ancient Indian philosophy, the Purusharthas or the four aims of life does NOT include : / प्राचीन भारतीय दर्शन के अनुसार, पुरुषार्थ या जीवन के चार उद्देश्यों में शामिल नहीं हैं:
(a) Artha / अर्थ
(b) Kama / काम
(c) Yasha / यशा
(d) Moksha / मोक्ष
SSC CPO-SI – 12/12/2019 (Shift-II)
Answer / उत्तर :-
(c) Yasha / यशा
Explanation / व्याख्या :-
According to Indian Philosophy Purusharthas literally means ‘attainable by man’. In todays terminology it can be called ‘Value’. According to Hindu thinkers there are four Purusharthas – Artha (wealth) , Kama (desire), Dharma (righteousness) and Moksha (liberation). Whereas Yash does not come under Purusharthas.
भारतीय दर्शन के अनुसार पुरुषार्थ का शाब्दिक अर्थ है ‘मनुष्य द्वारा प्राप्य’। आज की शब्दावली में इसे ‘मूल्य’ कहा जा सकता है। हिंदू विचारकों के अनुसार चार पुरुषार्थ हैं – अर्थ (धन), काम (इच्छा), धर्म (धार्मिकता) और मोक्ष (मुक्ति)। जबकि यश पुरुषार्थ के अंतर्गत नहीं आता है।
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